ज्ञापन में उल्लेख है कि बक्सर गंगा नदी के विस्तृत तट पर स्थित है, जहां सैकड़ों संवेदनशील पोखर और तालाब मौजूद हैं. बलिया से लेकर सिमरी और चक्की तक कई गांव नदी किनारे बसे हैं, जहां अक्सर हादसे होते रहते हैं.
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डीएम को पौधा देते अजय |
- गंगा किनारे हादसों में जान गंवा रहे लोग, अजय बोले – स्थानीय स्तर पर राहत टीम जरूरी
- बिहटा से आने में लगते हैं कई घंटे, समय पर मदद नहीं मिलने से टूटती हैं सांसें
बक्सर टॉप न्यूज, बक्सर : गंगा नदी के किनारे बसे बक्सर जिले में बार-बार हो रही जल दुर्घटनाओं के बीच अब स्थानीय स्तर पर राहत व बचाव टीम की मांग तेज हो गई है. इसी क्रम में नगर के युवा समाजसेवी अजय राय ने जिलाधिकारी विद्यानंद सिंह से मिलकर जिले में एनडीआरएफ या एसडीआरएफ कैंप की स्थापना की मांग की है. डीएम को सौंपे गए ज्ञापन में अजय ने बक्सर के भौगोलिक और सामाजिक महत्व को रेखांकित करते हुए यह अपील की है.
ज्ञापन में उल्लेख है कि बक्सर गंगा नदी के विस्तृत तट पर स्थित है, जहां सैकड़ों संवेदनशील पोखर और तालाब मौजूद हैं. बलिया से लेकर सिमरी और चक्की तक कई गांव नदी किनारे बसे हैं, जहां अक्सर हादसे होते रहते हैं. ऐसे में यदि जिले में ही एनडीआरएफ या एसडीआरएफ की टीम तैनात हो, तो समय रहते जान बचाई जा सकती है.
फिलहाल जिले में किसी भी राहत एजेंसी का कैंप नहीं है. आपदा के समय टीम को बिहटा से आना होता है, जो मुख्यालय से करीब 100 किलोमीटर दूर है. इससे मदद पहुंचने में कई घंटे लग जाते हैं और कई बार समय पर राहत न मिलने से जान चली जाती है.
अजय ने यह भी कहा कि बक्सर शाहाबाद प्रक्षेत्र के भोजपुर, रोहतास और कैमूर जिलों से जुड़ा हुआ है. अगर यहां कैंप स्थापित होता है, तो इन जिलों को भी आपदा के समय मदद मिल सकेगी. अजय की इस पहल को लेकर आम लोग उनकी सराहना कर रहे हैं और सोशल मीडिया पर भी उन्हें खूब समर्थन मिल रहा है.
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