स्वच्छ सर्वेक्षण में अव्वल बक्सर नगर परिषद पर जनता को पब्लिक टॉयलेट भी मयस्सर नहीं ..

वर्तमान में नगर में सार्वजनिक स्थानों पर एक भी ऐसा टॉयलेट मौजूद नहीं है जो चालू हालत में अथवा साफ-सुथरा और बेहतर हालत में हो. नगर के समाहरणालय, व्यवहार न्यायालय और अनुमंडल कार्यालय जैसी जगहों पर शौचालय और मूत्रालय की कमी से लोगों खासकर महिलाओं को काफी परेशानी होती है.
अनुमंडल और एसपी कार्यालय के समीप स्थित पब्लिक टॉयलेट की स्थिति

 







- लोगों ने कहा - यह स्थिति बेहद दुर्भाग्यपूर्ण
- जिम्मेदार लोग नहीं दे पा रहे हैं सवालों का जवाब

बक्सर टॉप न्यूज़, बक्सर : स्वच्छ सर्वेक्षण-2023-24 में बक्सर नगर परिषद को राज्य में तीसरा स्थान मिला है. यह रैंकिंग डोर टू डोर कचरा संग्रहण मुहल्लों, बाजारों की साफ-सफाई आदि में नगर परिषद के योगदान को देखते हुए दिया गया है. स्वच्छ सर्वेक्षण की यह रिपोर्ट भले ही नगर परिषद को अपनी पीठ खुद थपथपाने का मौका दे रही हो लेकिन इसी रिपोर्ट के मुताबिक नगर परिषद पब्लिक टॉयलेट की सफाई, कचरे का अलग-अलग संग्रहण में भी फिसड्डी है जिसके कारण पूरे देश में वह अब भी 299 वें रैंक पर है. वर्तमान में नगर में सार्वजनिक स्थानों पर एक भी ऐसा टॉयलेट मौजूद नहीं है जो चालू हालत में अथवा साफ-सुथरा और बेहतर हालत में हो. नगर के समाहरणालय, व्यवहार न्यायालय और अनुमंडल कार्यालय जैसी जगहों पर शौचालय और मूत्रालय की कमी से लोगों खासकर महिलाओं को काफी परेशानी होती है.
उचित रख-रखाव और सफाई तक नहीं

पांडेय पट्टी निवासी समाजसेवी सुनील मिश्रा कहते हैं कि विस्तारित क्षेत्र को छोड़िए नगर परिषद कार्यालय के बेहद करीब अनुमंडल पदाधिकारी के कार्यालय, भूमि सुधार उपसमाहर्ता तथा एसपी कार्यालय के समीप स्थित सार्वजनिक शौचालय साफ-सफाई नहीं होने के कारण बढ़ाहल स्थिति में है. उसी प्रकार के हालात समाहरणालय और व्यवहार न्यायालय में भी है. इसके अतिरिक्त प्रमुख चौक-चौराहों पर शौचालय और मूत्रालय नहीं होना बेहद दुर्भाग्यपूर्ण स्थिति का परिचायक है.

भाजयुमो जिलाध्यक्ष  सौरभ तिवारी का कहना है कि नगर परिषद भले ही तमाम सुख सुविधाएं बढ़ाने का दावा करे और उनके नाम पर करोड़ों रुपये खर्च करे लेकिन स्थिति ढाक के तीन पात वाली ही है. इतनी नारकीय स्थिति होने के बावजूद अगर हम केवल स्वच्छ सर्वेक्षण की रैंकिंग देखते रहे तो यह गलत होगा. अभी तो हालात यह हैं कि अगर किसी को जमुना चौक पर मूत्र विसर्जन की इच्छा हो तो उसे भाग कर घर ही आना पड़ेगा.

जवाब देने से बचते नज़र आए स्वच्छता ब्रांड एम्बेसडर :

नगर में इतनी गंदगी फैली होने के बावजूद नगर परिषद को स्वच्छता रैंकिंग में तीसरा स्थान मिलने तथा स्वच्छ सर्वेक्षण रिपोर्ट में ही शौचालय और मूत्रालय की बदहाल स्थिति के बारे में जब नगर परिषद के स्वच्छता ब्रांड एंबेसडर डॉ श्रवण कुमार तिवारी से सवाल किया गया तो वह सवाल का जवाब देने से बचते नजर आए. उन्होंने पहले बातों को गोल-गोल घुमाया और फिर7 सवाल को ही टाल दिया.

मुख्य पार्षद की तरफ से भी कोई जवाब नहीं :

मुख्य पार्षद कमरुल निशा फरीदी के प्रतिनिधि नियामतुल्लाह फरीदी ने भी नगर की सूरत बदलने का जो दावा किया था. वह दावा क्या शौचालय और मूत्रालय की साफ-सफाई के बिना  पूरा हो पाएगा? यह जाने के लिए उनके मोबाइल फोन संख्या 9304945488 पर संपर्क करने का प्रयास किया गया लेकिन उन्होंने फोन नहीं उठाया ऐसे में यह प्रश्न अनुत्तरित ही रह गया.










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