नाबालिक वाहन चालक के पकड़े जाने पर उनके अभिभावक से 25 हज़ार रुपये बतौर जुर्माना वसूला जाता है. इसके अतिरिक्त यदि इंश्योरेंस और ड्राइविंग लाइसेंस आदि नहीं हो तो उसके लिए भी निर्धारित जुर्माना वसूला जाता है. जिसके साथ ही प्रदूषण प्रमाण पत्र नहीं होने पर 10 हज़ार रुपये लिए जाने का प्रावधान है.
- कहा, ड्राइविंग लाइसेंस के साथ प्रदूषण और इंश्योरेंस का प्रमाण पत्र भी जरूरी
- बताया जिले में 76 फीसद हुई हेलमेट पहन बाइक चलाने वालों की संख्या
बक्सर टॉप न्यूज़, बक्सर : बाइक चलाने के लिए 18 वर्ष तथा ई- रिक्शा चलाने के लिए 20 वर्ष की उम्र होना आवश्यक है. इससे कम उम्र के लोगों के द्वारा बाइक अथवा ई-रिक्शा चलाने पर उनके अभिभावकों से भारी जुर्माना वसूला जाएगा. यह कहना है. जिला परिवहन पदाधिकारी मनोज कुमार रजक का. दरअसल नगर में नाबालिग चालकों के द्वारा बाइक व ई-रिक्शा चलाए जाने के सवाल पर उन्होंने यह जवाब दिया. उन्होंने यह बताया भी है कि जिले में हेलमेट पहनने वालों की संख्या में इजाफा हुआ है. पहले जहां हेलमेट पहनने वालों की संख्या काफी कम हुआ करती थी वहीं अब 76 फीसद लोग हेलमेट पहन रहे हैं. परिवहन विभाग के द्वारा कराए गए एक सर्वेक्षण में यह बात सामने आई है इसके लिए अलग-अलग दिनों को जिले के प्रमुख चौक चौराहों से गुजरने वाले बाइक और स्कूटी चालकों की गणना कराई गई है.
उन्होंने कहा कि इसके अतिरिक्त परिवहन विभाग लोगों को लगातार यह जागरूक कर रहा है कि वह वाहन के उचित कागजात इंश्योरेंस तथा परमिट आदि लेकर वाहन का चालन करें. ऐसा करके वह स्वयं तथा दूसरों को सुरक्षित रख सकते हैं.
निजी वाहन के लिए 18 वर्ष लेकिन कमर्शियल वाहन के लिए 20 वर्ष निर्धारित है उम्र :
जिला परिवहन पदाधिकारी ने बताया वाहन चालक को लेकर लोगों के मन में कुछ भ्रांतियां हैं, जिन्हें दूर करना आवश्यक है. उन्होंने बताया कि निजी बाइक चलाने के लिए जहां चालक की उम्र 18 वर्ष होनी चाहिए वही ई-रिक्शा तथा अन्य कमर्शियल वाहन चलाने के लिए कम से कम 20 वर्ष की उम्र होनी चाहिए. परिवहन विभाग लगातार अभियान चलाकर लोगों को या जागरूक करता है कि वह अपने कम उम्र के बच्चों को वाहन चालक करने ना दें. इसके साथ ही रिक्शा चालकों को भी यह हिदायत दी जाती है कि 20 वर्ष से कम उम्र होने पर वह वाहन चालान ना करें. ऐसा करने पर उनके विरुद्ध कार्रवाई भी होती है.
नाबालिक वाहन चालक के पकड़े जाने पर 25 हज़ार रुपये है जुर्माने की राशि :
डीटीओ ने बताया कि नाबालिक वाहन चालक के पकड़े जाने पर उनके अभिभावक से 25 हज़ार रुपये बतौर जुर्माना वसूला जाता है. इसके अतिरिक्त यदि इंश्योरेंस और ड्राइविंग लाइसेंस आदि नहीं हो तो उसके लिए भी निर्धारित जुर्माना वसूला जाता है. जिसके साथ ही प्रदूषण प्रमाण पत्र नहीं होने पर 10 हज़ार रुपये लिए जाने का प्रावधान है. उन्होंने कहा कि जिले में 29 प्रदूषण जांच केंद्र है. इसके अतिरिक्त एक चलंत वाहन भी लगातार भ्रमण शील रहती है जिससे बाइक के लिए 80 रुपये तथा ट्रक आदि के लिए अधिकतम 500 रुपये तक का शुल्क देकर कोई भी बाइक चालक प्रदूषण प्रमाण पत्र बनवा सकता है.
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