वीडियो : कोलकाता की घटना पर जिले के चिकित्सकों में आक्रोश, ड्यूटी छोड़ सड़क पर उतरे, मांगा न्याय ..

तमाम चिकित्सकों ने कोलकाता के एक मेडिकल कॉलेज में कार्यरत महिला चिकित्सक के साथ हुई जघन्य घटना पर आक्रोश व्यक्त किया. इसके पूर्व जिले भर से पहुंचे चिकित्सकों ने डॉ आरएन तिवारी के क्लिनिक में एक सभा की और उसमें दिवंगत आत्मा की शांति के लिए हुए दो मिनट का मौन रखा. 

 












- श्रद्धांजलि सभा के बाद कैंडल मार्च का हुआ आयोजन
- 18 अगस्त की सुबह तक ओपीडी सेवा बंद रखने का निर्णय

बक्सर टॉप न्यूज़, बक्सर : कोलकाता की महिला चिकित्सक के साथ दुष्कर्म और हत्या की वारदात के बाद जिले के चिकित्सक भी आक्रोशित हैं. इंडियन मेडिकल एसोसिएशन तथा इंडियन डेंटल एसोसिएशन की तरफ से एक कैंडल मार्च का आयोजन अध्यक्ष डॉ आर एन तिवारी के नेतृत्व में किया गया. इस दौरान सरकार से यह मांग की गई कि दोषियों को कठोरता सजा दी जाए. साथ ही चिकित्सकों की सुरक्षा के लिए एक मजबूत कानून बने.

हाथों पर काली पट्टी बांधकर चिकित्सकों का यह मार्च नगर के ज्योति प्रकाश चौक से वीर कुंवर सिंह चौक तक किया गया. तत्पश्चात रेडक्रॉस पॉलीक्लिनिक में कैंडल जलाकर दिवंगत चिकित्सक को श्रद्धांजलि अर्पित की गई. इस दौरान जिले के डुमरांव, प्रताप सागर एवं अन्य स्थानों आदि से आए तमाम चिकित्सकों ने कोलकाता के एक मेडिकल कॉलेज में कार्यरत महिला चिकित्सक के साथ हुई जघन्य घटना पर आक्रोश व्यक्त किया. इसके पूर्व जिले भर से पहुंचे चिकित्सकों ने डॉ आरएन तिवारी के क्लिनिक में एक सभा की और उसमें दिवंगत आत्मा की शांति के लिए हुए दो मिनट का मौन रखा. 


आक्रोश मार्च में शामिल डॉ सीएम सिंह ने कहा कि कोलकाता में चिकित्सा के साथ जो हुआ यह एक अक्षम्य अपराध है और सरकार को दोषियों को कठोर सजा देनी चाहिए. उन्होंने कहा कि चिकित्सक सुरक्षित रहेंगे तभी देश सुरक्षित रहेगा. ऐसे सरकार को इस पर जरूर विचार करना चाहिए. डॉ दिलशाद आलम और डॉ वी के सिंह ने कार्यक्रम में चिकित्सकों की सुरक्षा के प्रति कठोर नियमों के लागू करने की बात कही. उन्होंने कहा कि सरकार को इस पर गंभीरता से विचार करना चाहिए. डॉ श्वेता पाठक ने कहा कि कार्यस्थल पर महिला चिकित्सक को सुरक्षा अवश्य मिलनी चाहिए ताकि वह निर्भय होकर रोगियों की सेवा कर सके. अन्यथा उन्हें यह लगेगा कि महिला होना ही अपराध है. डॉ आरके सिंह ने कहा कि कोलकाता में जो हुआ वह बेहद निंदनीय है और दोषियों को सरकार फांसी की सजा दे. आइएमए मुख्यालय के निर्देश यह कार्यक्रम आयोजित किया गया था. सभी चिकित्सक दिवंगत साथी को न्याय दिलाने तक संघर्ष करते रहेंगे.

बता दें कि इंडियन मेडिकल एसोसिएशन के केंद्रीय मुख्यालय के आह्वान पर बक्सर सहित देश भर के सभी चिकित्सको  ने 17 अगस्त की सुबह से 18 अगस्त की सुबह तक आपात सेवा को छोड़कर ओपीडी सेवाएं को बंद रखा है. 

विरोध प्रदर्शन में शामिल चिकित्सकों में डॉ सीएम सिंह, डॉ आरएन तिवारी, डॉ रितेश चौबे, डॉक्टर आरके सिंह, डॉ संतोष श्रीवास्तव, डॉ चंद्रशेखर, डॉ एडी उपाध्याय, डॉ महेंद्र प्रसाद, डॉक्टर कुमार गांगेय राय, डॉक्टर अरुण कुमार, डॉ दिलशाद आलम, डॉ शैलेश राय, डॉ निशांत कुमार, डॉ उज्जवल कुमार राय, डॉ वेद प्रकाश, डॉ चंदन कुमार वर्मा, डॉ एसएन उपाध्याय, डॉ वीके सिंह, डॉ श्वेता पाठक डॉ स्वाति भारती, डॉ अनीता, डॉ उषा सिन्हा, डॉ निभा कुमारी, डॉ तिषिता, डॉक्टर तनवीर फरीदी डॉ जी तिवारी डॉ बिना कुमारी, डॉ ब्रजमोहन, डॉ आशुतोष कुमार सिंह, डॉ पीके पांडेय, डॉ संतोष कुमार, डॉ ए रीमा राय, डॉ दिलीप कुमार, डॉ खालिद रज़ा आदि प्रमुख रहे.

वीडियो : 







Post a Comment

0 Comments