बड़ी ख़बर: कोरोना संक्रमित अधीक्षक करते रहे ड्यूटी, बाल गृह के बच्चों पर गहराया संकट ..

जांच कर वापस लौटी टीम ने अधीक्षक की कोरोना जांच कराने के लिए विभाग को पत्र लिखा. आनन-फानन में जांच करायी गयी. जिसमें वह पॉजिटिव निकले. इसके बाद पूरा प्रशासन सकते में आ गया. क्योंकि, अधीक्षक वहां रह रहे कई बालकों के संपर्क में आ गए थे.
- डीएम के निर्देश पर डीडीसी ने की मामले की जांच, विभाग को लिखा कार्रवाई हेतु पत्र
- बाल कल्याण समिति की सूचना पर कराई गई थी जांच

बक्सर टॉप न्यूज, बक्सर: एक तरफ जहां कोरोना संक्रमण  को लेकर प्रशासन हर तरह की जागरूकता लाने की कोशिश कर रही है वहीं, प्रशासन के ही  कुछ ऐसे नुमाइंदे हैं जिनकी लापरवाही से संक्रमण का प्रसार लगातार बढ़ता जा रहा है. ऐसे ही एक मामले में बालगृह अधीक्षक की लापरवाही से 24 मासूम बच्चों का जीवन संकट में आ गया है. साथ में वहां कार्यरत कर्मी भी इस बात से सशंकित हैं कि वह लोग भी कोरोना संक्रमण की चपेट में आ सकते हैं.

इसी बीच डीएम अमन समीर ने बालगृह में रह रहे बालकों को कोरोना जांच का निर्देश  दिया है. मिली जानकारी के अनुसार बालगृह अधीक्षक रौशन कुमार छुट्टी पर गए थे. वह 16 जुलाई को उन्होंने ड्यूटी ज्वाइन की। छुट्टी के दौरान उनकी तबियत खराब थी. उन्हें सर्दी खांसी की शिकायत थी. रौशन ने बिना जांच कराया बालगृह में कार्य करने लगे. वहीं, 17 जुलाई को बाल कल्याण समिति के सदस्य डॉ शशांक शेखर, नवीन कुमार, योगिता सिंह व मदन सिंह नियमित जांच करने के लिए पहुंचे. इस दौरान रौशन कुमार के तबीयत खराब होने का अंदाजा लगा. जांच कर वापस लौटी टीम ने अधीक्षक की कोरोना जांच कराने के लिए विभाग को पत्र लिखा. आनन-फानन में जांच करायी गयी. जिसमें वह पॉजिटिव निकले. इसके बाद पूरा प्रशासन सकते में आ गया. क्योंकि, अधीक्षक वहां रह रहे कई बालकों के संपर्क में आ गए थे.

डीएम समिति के सदस्य डॉ. शशांक शेखर से पूरी घटना से अवगत हुए. इसके बाद डीएम ने डीडीसी अरविंद कुमार को पूरी जांच कर रिपोर्ट सौंपने का निर्देश दिया है. वहीं दूसरी ओर अधीक्षक की लापरवाही का खामियाजा मासूम बालकों को भुगतना नहीं पड़े इसकी कामना सभी कर रहे हैं. उधर डीडीसी अरविंद कुमार से बात करने पर उन्होंने बताया कि मामले की जांच करने पर अधीक्षक दोषी पाए गए हैं जिसके बाद विभागीय कार्रवाई के लिए पत्र लिखा गया है.











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