रिसाव धीरे-धीरे बढ़ गया और लोग इसे चमत्कार मान कर यहां पहुंचने लगे. देखते ही देखते पूजा-पाठ आदि भी शुरु कर दिया गया है. लोग इसे दैवीय चमत्कार मान रहे हैं और पेड़ से निकलने वाले पानी को पीकर स्वयं को धन्य समझ रहे हैं.
- वैज्ञानिक ने कहा दैवीय चमत्कार नहीं बल्कि बैक्टीरियल डिसऑर्डर के कारण हुआ है
- लोगों से कहा तरल द्रव्य पीने से करें परहेज
बक्सर टॉप न्यूज, बक्सर : चौसा प्रखंड के पवनी पंचायत में एक बरगद के तने तथा जड़ से पिछले चार दिनों से पानी का रिसाव हो रहा है. रिसाव धीरे-धीरे बढ़ गया और लोग इसे चमत्कार मान कर यहां पहुंचने लगे. देखते ही देखते पूजा-पाठ आदि भी शुरु कर दिया गया है. लोग इसे दैवीय चमत्कार मान रहे हैं और पेड़ से निकलने वाले पानी को पीकर स्वयं को धन्य समझ रहे हैं. ग्रामीणों ने बताया कि पानी का स्वाद नारियल के पानी की तरह लग रहा है. ऐसे में निश्चय ही यह कोई दैवीय चमत्कार है.
कुछ दिन पूर्व जब वह खेतों के बीच खड़े बरगद के पेड़ के समीप पहुंचे थे. वहां उन्हें जड़ों से पानी का स्राव होता दिखा. बाद में अगले दिन पहुंचने पर पानी का स्राव कुछ ज्यादा बढ़ गया था. बाद में अन्य ग्रामीणों को इसकी सूचना मिली और अब वहां सैकड़ों ग्रामीण महिला और पुरुष पहुंच गए हैं. साथ पौधे के समीप भगवान की तस्वीर रखकर तथा फूल मालाएं अर्पित कर तन्मयता से पूजन-अर्चन कर रहे हैं.
कृषि वैज्ञानिक ने बताया एंटीबैक्टीरियल रूट डिसऑर्डर, कहा- पानी पीना हानिकारक :
कृषि वैज्ञानिक डॉ देवकरण ने बताया कि पेड़ की जड़ों से पानी का निकलना एंटीबैक्टीरियल रूट डिसऑर्डर है जिसके कारण उन्होंने कहा कि अक्सर ऐसा होता है कि जब पेड़ों में संक्रमण हो जाता है और तरल द्रव्य बाहर निकलने लगता है लेकिन, यह कोई चमत्कार नहीं बल्कि पेडों में उत्पन्न विकार के कारण होता है. उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि जड़ों से निकलने वाले तरल द्रव्य का सेवन स्वास्थ्य के लिए अहितकर है. ऐसे में लोग इससे परहेज करें.
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1 Comments
Himani k buxar m ketna andhbhakti ba
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