जिला अधिवक्ता संघ चुनाव का काउंटडाउन शुरु .. सरगर्मी पूरे शबाब पर ..

अध्यक्ष, महासचिव एवं संयुक्त सचिव चुने जाने की चाह रखने वाले 18 प्रत्याशी सियासी मैदान में विजय पताका  लहराने की नीयत से जनसंपर्क में अपनी पूरी उर्जा झोंक चुके हैं. जीत का मीठा स्वाद किस के भाग्य में होगा और पराजय का कड़वा स्वाद कौन चखेगा इसका फैसला लगभग 1 हज़ार 800 अधिवक्ता मतदाता अपने मतदान के जरिए करेंगे.






- 1800 मतदाता करेंगे 18 प्रत्याशियों के भाग्य का फैसला
- बेहद शालीनता से चुनाव प्रचार कर रहे हैं अधिवक्ता

बक्सर टॉप न्यूज, बक्सर : छह दिन के बाद यानी 22 अप्रैल को होने वाले जिला अधिवक्ता संघ चुनाव की सरगर्मी पूरे शबाब पर है. अध्यक्ष, महासचिव एवं संयुक्त सचिव चुने जाने की चाह रखने वाले 18 प्रत्याशी सियासी मैदान में विजय पताका  लहराने की नीयत से जनसंपर्क में अपनी पूरी उर्जा झोंक चुके हैं. जीत का मीठा स्वाद किस के भाग्य में होगा और पराजय का कड़वा स्वाद कौन चखेगा इसका फैसला लगभग 1 हज़ार 800 अधिवक्ता मतदाता अपने मतदान के जरिए करेंगे. प्रत्येक दो वर्ष में होने वाली अधिवक्ता संघ चुनाव की तारीखों का ऐलान होते ही सभी प्रत्याशी अधिवक्ता एक्टिव मोड में आ गए थे जिन्हे इस निर्वाचन में तकदीर आजमाना है. 

चुनाव संपन्न कराने के लिए जिला अधिवक्ता संघ बक्सर ने मुख्य चुनाव आयुक्त अनिल ठाकुर के अलावा दो सहायक चुनाव आयुक्त शेषनाथ सिंह एवं चंद्रमोहन श्रीवास्तव की टीम बनाई गई है. निर्वाचन मंडल की देखरेख में नामांकन,नाम वापसी, अभ्यार्थियों के नाम निर्देशन पत्र का अंतिम प्रकाशन और अब अंतिम मतदाता सूची का प्रकाशन भी होचुका है. इन सभी प्रक्रियाओं के बाद जिले में पंजीकृत लगभग 1800 मतदाता 22 अप्रैल के पूर्वाह्न 8 से शाम 3 बजे तक मतदान के द्वारा  प्रत्याशियों के भाग्य का फैसला करेंगे. वोटिंग के बाद मतपेटी को निर्वाचन अधिकारियों के आदेशानुसार पुस्तकालय भवन में रखा जाएगा. 22 अप्रैल की शाम को ही लगभग 5 बजे से रात्रि 11 बजे तक मतगणना संपन्न हो जाएगी. तदुपरांत निर्वाचन अधिकारी विजई उम्मीदवारों के नामों की आधिकारिक घोषणा करेंगे. अध्यक्ष पद के लिए ऐसे 5 प्रत्याशी चुनावी महासंग्राम में है लेकिन सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार शिव प्रकाश नारायण उर्फ शिवजी राय,बबन ओझा तथा रामेश्वर प्रसाद वर्मा के बीच त्रिकोणीय मुकाबला है. इसी तरह महासचिव की जिम्मेदारी संभालने की तमन्ना में नौ प्रत्याशी हैं लेकिन महेंद्र कुमार चौबे उर्फ मथुरा चौबे,बिंदेश्वरी पांडेय उर्फ पप्पू पांडेय में सीधी भिड़ंत है लेकिन महासचिव पद मालदार होने के कारण इस पद पर भूमिहार जातियों का प्रभाव ज्यादा रहता है एवं दबी आवाज में अधिवक्ताओं द्वारा बातें करते हुए यह भी सुना जा रहा है कि इस पद पर भूमिहार जाति के एक मात्र प्रत्याशी शशिभूषण राय के होने की वजह से उपरोक्त दोनों प्रत्याशीयो में सीधी भिड़ंत कहना बेमानी है,जाती आधार को देखते हुए यह पद भी त्रिकोणीय नज़र आता है.

जीत के लिए तूफानी जनसंपर्क कर रहे प्रत्याशी.

क्योंकि जिला संघ के चुनाव के लिए सिर्फ 6 दिन ही शेष हैं इसलिए सभी पदों के प्रत्याशी अपना पक्ष मजबूत करने के इरादे से कोर्ट कैंपस से लेकर भीषण गर्मी और चिलचिलाती धूप में मतदाताओं के घर-घर जा कर तूफानी जनसंपर्क करते हुए दिख रहे हैं. ज्यादातर उम्मीदवार ऐसे अधिवक्ताओं से सीधे संवाद कर रहे हैं जो वकालत के क्षेत्र में रेगुलर प्रैक्टिसनर नहीं हैं या जो नए हैं. अधिवक्ता संघ चुनाव की सबसे बड़ी खासियत यह है कि किसी भी पद का कोई भी प्रत्याशी अपने प्रतिद्वंद्वियों के खिलाफ ऐसा कोई भी बयान नहीं दे रहा हैं जो अनुचित या अमर्यादित हो बल्कि, बेहद शालीनता से वे अपनी बातें रखते हुए वोटरों को अपने पक्ष में मतदान करने की अपील कर रहे हैं.


न्यायालय संवाददाता राघव कुमार पांडेय की रिपोर्ट






















 














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