लगातार हो रही कार्रवाई से बौखला गए हैं अवैध कारोबारी : श्रेयांश तिवारी

संबंधित ट्रक के साथ तीन अन्य ट्रकों को पकड़ा गया था. ये गाड़ियां देवल चेक पोस्ट से 100 मीटर आगे और पुल से लगभग 400 मीटर पहले थी. जिसका वीडियो और फोटो भी लिया गया है. जिसमें लोकेशन भी देखा जा सकता है. इससे यह साफ होता है कि यह सभी यूपी ही जा रहे थे.





- सीनियर डिप्टी कलेक्टर ने घूसखोरी के आरोपों को किया ख़ारिज
- बोले - ट्रक चालक के द्वारा झूठी कहानी बनाने की नाकाम कोशिश

बक्सर टॉप न्यूज, बक्सर : "ट्रक चालक के द्वारा घूस दिए जाने के आरोप बेबुनियाद है. जैसे ही फोन-पे के माध्यम से पैसे अकाउंट में पहुंचे एक घंटे के अंदर बैंक के अधिकारियों को यह सूचना दे दी गई कि संभवत: किसी के द्वारा गलती से अथवा जानबूझकर या पैसे भेजे गए हैं ऐसे में उचित कार्रवाई की जाए. खनन पदाधिकारी का प्रभार मिलने के बाद ताबड़तोड़ हो रही कार्रवाइयों के कारण अवैध बालू कारोबारी बौखला गए हैं और बौखलाहट में इस तरह का कार्य कर रहे हैं." यह कहना है प्रभारी जिला खनन पदाधिकारी श्रेयांश तिवारी का.

उन्होंने बताया 17 जून को जिस पे फोन अकाउंट में बतौर घूस 20 हज़ार रुपये की राशि भेजे जाने की बात कही जा रही है असल में वह नंबर सार्वजनिक रूप से सभी के पास है. उस नंबर से उनकी माता जी का अकाउंट लिंक्ड है, जो कि स्वयं सरकारी सेवक हैं. यह सभी जानते हैं कि फोन-पे के माध्यम से बिना किसी की इजाजत उसके अकाउंट में पैसे ट्रांसफर किए जा सकते हैं. 17 जून को अकाउंट में पैसे आने का नोटिफिकेशन प्राप्त हुआ तुरंत ही एलडीएम बक्सर, डीसीओ बक्सर को यह सूचना दी कि वह लोक सेवक हैं और मेरे अकाउंट में पैसा आ गया है. यदि गलती से किसी का पैसा आ गया है तो उसे वापस कर दिया जाए और अगर जानबूझ कर किसी ने ऐसा किया है तो उसके ऊपर कार्रवाई की जाए.

श्रेयांश तिवारी पर घूस मांगने का लगा था आरोप :

दरअसल ,बक्सर के सीनियर डिप्टी कलेक्टर श्रेयांश तिवारी पर एक उत्तर प्रदेश के गाजीपुर जिले के दिलदार नगर थाना क्षेत्र के फूली गांव निवासी रामाशीष सिंह नामक ट्रक चालक के द्वारा आरोप लगाया गया था कि 12 चक्का ट्रक संख्या यूपी-61-टी-1785 (जिसके मालिक रविशंकर राय हैं) 14 जून को औरंगाबाद के दाउदनगर बालू घाट से ओवरलोड बालू लेकर चौसा प्रखंड के रामपुर स्थित राजेश कुमार राय के आ रहा था. लेकिन रामपुर देवल मोड़ के समीप खनन निरीक्षक आकाश कुमार ने चार-पांच सिपाहियों के साथ उसकी गाड़ी रुकवा दी और फिर उसकी गाड़ी को देवल पुल तक ले गए और कहा कि तुम बिना चालान यूपी में बालू लेकर जा रहे हो. ऐसे में तुम्हारी ट्रक जब्त कर ली गई है. बाद में इस बात की जानकारी ट्रक मालिक के भाई गंगाफल राय को दी गई और 17 जून तक समाहरणालय का चक्कर लगाने के बाद खनन पदाधिकारी श्रेयांश तिवारी से मुलाकात हुई और उन्होंने कहा कि ट्रक पर 2 लाख 35 हज़ार रुपये का जुर्माना लगा है. बाद में उन्होंने 50 हज़ार रुपये लेकर ट्रक छोड़ने की बात कही और इसी के एवज में उन्हें 20 हज़ार रुपये फोन पे और 30 हज़ार रुपये नकद दिए गए थे.

खनन पदाधिकारी ने दिया हर आरोप का जवाब : 

ट्रक चालक के द्वारा लगाए गए आरोप का जवाब देते हुए खनन पदाधिकारी ने बताया कि संबंधित ट्रक के साथ तीन अन्य ट्रकों को पकड़ा गया था. ये गाड़ियां देवल चेक पोस्ट से 100 मीटर आगे और पुल से लगभग 400 मीटर पहले थी. जिसका वीडियो और फोटो भी लिया गया है. जिसमें लोकेशन भी देखा जा सकता है. इससे यह साफ होता है कि यह सभी यूपी ही जा रहे थे.


पिछले महीने लगे आरोपों पर भी दी सफाई : 

सीनियर डिप्टी कलेक्टर ने 18 मई 2023 को जिले के गंगा नदी पर उनके सहारे यूपी-बिहार के बीच हो रहे लाल बालू के कारोबार में एक साथ 45 ट्रकों को जब्त करने की अपनी कार्रवाई के बारे में बताया कि उस समय 45 ट्रक जप्त किए गए थे. लेकिन बाद में जब जांच हुई तो यह पाया गया सभी ट्रकों पर बालू नहीं था. केवल 22 ट्रकों पर बालू था. अन्य में कोयला तथा अन्य सामान रखे हुए थे. ऐसे में उन्हें छोड़ दिया गया. उन्होंने लाल बालू का काला खेल करने वाले कारोबारियों को चेतावनी देते हुए कहा कि उनके विरुद्ध कार्रवाई लगातार जारी रहेगी.












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