विजयादशमी महोत्सव की तैयारी पूरी, सात अक्टूबर को रामलीला मंच पर होगा भव्य शुभारंभ ..

कहा कि इस वर्ष विजयादशमी महोत्सव में विशेष रूप से वामन भगवान के अवतार के प्रसंग को जोड़ा गया है, जिसमें बक्सर वासी इस महत्वपूर्ण प्रसंग का दर्शन करेंगे.




- वृंदावन के कलाकारों द्वारा 21 दिनों तक दिन में कृष्ण लीला और रात्रि पहर रामलीला प्रसंग का होगा जीवंत मंचन
- महोत्सव में इस बार "वामन अवतार प्रसंग" को भी विशेष रूप से किया गया शामिल

बक्सर टॉप न्यूज़, बक्सर : रामलीला मैदान (किला) के विशाल मंच पर होने वाले 21 दिवसीय विजयादशमी महोत्सव की तैयारी पूरी हो चुकी है. आगामी 07 अक्टूबर को जिउतिया पर्व के दिन संध्या 7.00 बजे रामलीला मंच पर इसका भव्य शुभारंभ लक्ष्मी नारायण मंदिर के महंथ श्री श्री 1008 श्री राजगोपालाचार्य जी के हाथों वैदिक मंत्रोच्चार के बीच होगा. 

उक्त आशय की जानकारी श्री रामलीला समिति के सचिव बैकुण्ठ नाथ शर्मा एवं समिति के संयुक्त सचिव सह मीडिया प्रभारी हरिशंकर गुप्ता ने प्रेस वक्तव्य के माध्यम से दी है.

पदाधिकारी द्वय ने बताया कि विश्वप्रसिद्ध वृंदावन की प्रख्यात मंडली श्री नन्द नंदन रासलीला एवं रामलीला मंडल के स्वामी श्री करतार ब्रजवासी के सफल निर्देशन में 21 दिनों तक दिन में कृष्णलीला और रात्रि में रामलीला प्रसंग का मंचन किया जायेगा. यह कार्यक्रम 07 अक्टूबर से 27 अक्टूबर तक चलेगा.

उन्होंने कहा कि इस वर्ष विजयादशमी महोत्सव में विशेष रूप से वामन भगवान के अवतार के प्रसंग को जोड़ा गया है, जिसमें बक्सर वासी इस महत्वपूर्ण प्रसंग का दर्शन करेंगे.

कार्यक्रम की विस्तृत जानकारी देते हुए पदाधिकारी द्वय ने बताया कि 07 अक्टूबर को संध्या पहर रामलीला मंच पर विजयादशमी महोत्सव का गणेश पूजन एवं शिव पार्वती विवाह के साथ भव्य शुभारंभ होगा. इस क्रम में 08 अक्टूबर को दिन में श्रीकृष्ण जन्म लीला और रात्रि में नारद मोह लीला, 09 अक्टूबर को दिन में नंद महोत्सव, पूतना वध लीला और रात्रि में मनुसतरुपा तपस्या, रावण अत्याचार लीला, 10 अक्टूबर को दिन में माखन चोरी व ऊखल बंधन लीला और रात्रि में श्रीराम जन्म, नामकरण लीला, 11 अक्टूबर को दिन में कालीदह, गोवर्धन लीला और रात्रि में ताड़का, मारीच सुबाहु वध लीला, 12 अक्टूबर को दिन में मीरा चरित्र लीला और रात्रि में अहिल्या उद्धार व पुष्प वाटिका प्रसंग लीला, 13 अक्टूबर को दिन में भर्तहरि चरित्र लीला और रात्रि में सीता स्वयंवर, धनुष यज्ञ लीला, 14 अक्टूबर को दिन में भक्त नरसी मेहता लीला और रात्रि में लक्ष्मण परशुराम संवाद एंव धनुष यज्ञ लीला, 15 अक्टूबर को दिन में सुदामा चरित्र लीला और रात्रि में कैकेयी मंथरा संवाद लीला, 16 अक्टूबर को दिन में गोवर्धन डाकू लीला और रात्रि में राम वनवास, केवट प्रसंग लीला, 17 अक्टूबर को दिन में गोपाल भक्त लीला और रात्रि में दशरथ मरण व चित्रकूट में भरत मिलाप लीला, 18 अक्टूबर को दिन में वीर अभिमन्यु नाटक, और रात्रि में सुर्पनखा नासिका भंग लीला, 19 अक्टूबर को दिन में वामन भगवान अवतार लीला और रात्रि में खर दूषण वध शबरी प्रसंग लीला, 20 अक्टूबर को दिन में श्याम सगाई लीला और रात्रि में सुग्रीव मित्रता व वाली वध लीला, 21 अक्टूबर को दिन में हनुमत जन्म लीला और रात्रि में लंका दहन लीला, 22 अक्टूबर को दिन में अक्रुर आगमन लीला और रात्रि में सेतु बंध रामेश्वर व अंगद रावण संवाद लीला, 23 अक्टूबर को दिन में कंस वध लीला और रात्रि में लक्ष्मण शक्ति कुंभकर्ण वध लीला, 24 अक्टूबर को 2 बजे दिन में कलात्मक आतिशबाजी के साथ रावण, मेघनाथ, अहिरावण वध लीला ( पूतला दहन), 25 अक्टूबर को दिन में चन्द्रावली लीला और रात्रि में राजा हरिश्चन्द्र नाटक, 26 अक्टूबर को दिन में मुदरी चोरी लीला और रात्रि 10 बजे से नगर के यमुना चौक पर भरत मिलाप लीला, और अंतिम दिन 27 अक्टूबर को दिन में दशावतार लीला और रात्रि में भगवान श्रीराम के राज्याभिषेक लीला दिखाई जाएगी.






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