ज़िला पदाधिकारी कार्यालय के बाहर अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन किया. इस दौरान कर्मचारियों ने जोरदार नारेबाजी की और 10 सूत्री मांग पत्र सौंपा, जिसमें प्रमुख रूप से पुरानी पेंशन योजना की बहाली, ठेका कर्मियों का नियमितीकरण और निजीकरण पर रोक लगाने की मांग की गई.
- बक्सर में सरकारी कर्मचारियों ने सौंपा मांग पत्र
- प्रदर्शन कर उठाई पेंशन बहाली और ठेका कर्मियों के नियमितीकरण की मांग
बक्सर टॉप न्यूज़, बक्सर : अखिल भारतीय राज्य सरकारी कर्मचारी महासंघ के नेतृत्व में सरकारी कर्मचारियों ने आज राष्ट्रीय मांग दिवस के तहत ज़िला पदाधिकारी कार्यालय के बाहर अपनी मांगों को लेकर प्रदर्शन किया. इस दौरान कर्मचारियों ने जोरदार नारेबाजी की और 10 सूत्री मांग पत्र सौंपा, जिसमें प्रमुख रूप से पुरानी पेंशन योजना की बहाली, ठेका कर्मियों का नियमितीकरण और निजीकरण पर रोक लगाने की मांग की गई.
प्रदर्शनकारियों की सबसे बड़ी मांग पुरानी पेंशन योजना की बहाली रही, जो सरकारी कर्मचारियों के बीच एक लंबे समय से विवाद का विषय बना हुआ है. कर्मचारियों का कहना है कि नई पेंशन योजना में उनकी आर्थिक सुरक्षा खतरे में है और इससे उनके भविष्य पर बुरा असर पड़ेगा.
ठेका कर्मियों के लिए नियमितीकरण :
इसके साथ ही ठेका कर्मियों को नियमित करने की मांग भी उठाई गई. प्रदर्शनकारियों ने कहा कि ठेका कर्मी वर्षों से काम कर रहे हैं, लेकिन उन्हें नियमित नहीं किया जा रहा, जिससे उनका भविष्य असुरक्षित है.
डीएम को सौंपा 10 सूत्री मांग पत्र :
प्रदर्शन के दौरान 10 सूत्रीय मांग पत्र जिला पदाधिकारी को सौंपा गया, जिसमें निम्नलिखित मांगें प्रमुख थीं:
- पुरानी पेंशन योजना की बहाली
- ठेका कर्मियों का नियमितीकरण.
- सभी खाली पदों पर नियमित भर्ती की जाए
- निजीकरण और निगमीकरण पर रोक लगाई जाए
- विभागों का संकुचन बंद हो
- पांच साल में एक बार वेतन पुनरीक्षण हो
- 18 महीने का बकाया डीए (महंगाई भत्ता) जारी हो
- आयकर की सीमा 10 लाख रुपये तक बढ़ाई जाए
इस आयोजन में महासंघ के प्रमुख नेता मौजूद रहे, जिनमें अध्यक्ष अरुण कुमार ओझा, जिला अध्यक्ष संजय कुमार त्रिपाठी, जिला मंत्री लाल बाबू राम सहाय, और उपाध्यक्ष आनंद कुमार सिंह प्रमुख थे.
0 Comments