माना जा रहा है कि यह दांत उस हाथी के थे, जिसकी मौत कोरोना काल के दौरान हुई थी. इस पूरे मामले में तस्करों की योजना दांतों को बेचने की थी, जिसे पुलिस ने विफल कर दिया.
- पुलिस और वन विभाग की संयुक्त कार्रवाई
- देवकुली गांव में हाथी दांत तस्करी की योजना विफल
बक्सर टॉप न्यूज़, बक्सर : जिले के ब्रह्मपुर थाना क्षेत्र के देवकुली गांव में पुलिस और वन विभाग की टीम ने एक बड़ी कार्रवाई करते हुए लाखों रुपये मूल्य के हाथी के दांत के साथ पांच तस्करों को गिरफ्तार किया. यह छापेमारी गुप्त सूचना के आधार पर की गई, जिसमें देवकुली निवासी अशोक कुमार ओझा के पास हाथी के दोनों दांत पाए गए. माना जा रहा है कि यह दांत उस हाथी के थे, जिसकी मौत कोरोना काल के दौरान हुई थी. इस पूरे मामले में तस्करों की योजना दांतों को बेचने की थी, जिसे पुलिस ने विफल कर दिया.
देवकुली गांव में तस्करी की इस बड़ी घटना का खुलासा तब हुआ जब पुलिस को गुप्त सूचना मिली कि वहां कुछ लोग हाथी के दांतों की अवैध बिक्री करने वाले हैं. इस सूचना के आधार पर स्थानीय पुलिस और वन विभाग की संयुक्त टीम ने छापा मारा और पांच तस्करों को गिरफ्तार कर लिया. इन तस्करों की पहचान गनपत साह (61 वर्ष) निवासी बेगूसराय, मनोज कुमार पांडेय निवासी पिपरा जगदीशपुर, पारस नाथ राम निवासी काराकट, रोहतास, और धनंजय प्रसाद सिंह निवासी तिरासी बिगहा, रोहतास के रूप में की गई है.
पुलिस की जांच में यह बात सामने आई है कि देवकुली गांव में एक हाथी की मौत कोरोना काल के दौरान हुई थी, जिसके बाद उसके दोनों दांतों को अवैध रूप से बेचने की योजना बनाई गई थी. अशोक कुमार ओझा, जो देवकुली गांव का निवासी है, के पास ये दांत थे और वह इन्हें बेचने की तैयारी में था. तस्करों का यह गिरोह इस खरीद-फरोख्त में शामिल था, जिन्हें पकड़ने में पुलिस सफल रही.
बरामद हाथी के दांत :
पुलिस ने इस मामले में बरामद किए गए हाथी के दोनों दांतों का वजन लगभग 23 किलो बताया है. यह दांत बाजार में लाखों रुपये की कीमत के होते हैं, और इनकी अवैध तस्करी की जा रही थी. वन विभाग के अधिकारियों ने बताया कि हाथी के दांत की तस्करी वन्यजीव संरक्षण अधिनियम के तहत अपराध है और इस मामले में दोषियों के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई की जाएगी.
गिरफ्तार तस्करों के खिलाफ आगे की जांच की जा रही है और पुलिस इस मामले से जुड़े अन्य लोगों का पता लगाने का प्रयास कर रही है.
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