विद्यार्थियों की कल्पना को मिला नया आकार, विज्ञान प्रदर्शनी में दिखी प्रतिभा

रेन वाटर हार्वेस्टिंग, चंद्रयान मॉडल, वेस्ट मैनेजमेंट, स्मार्ट एग्रीकल्चर, गर्ल्स सेफ्टी डिवाइस, ग्रीन हाउस फार्मिंग, बायो गैस प्लांट, स्मार्ट सिटी, फायर अलार्म, ग्लोबल वार्मिंग, हाइड्रो इलेक्ट्रिसिटी जेनरेटर, ट्रांसफॉर्मेशन ऑफ नेचर, सोलर इक्लिप्स और वाटर वेस्ट ट्रीटमेंट जैसे मॉडल आकर्षण का केंद्र रहे.










                                           

- डुमरांव फाउंडेशन स्कूल में विज्ञान प्रदर्शनी का जलवा, विद्यार्थियों ने अनोखे मॉडलों से मोहा मन
- रेन वाटर हार्वेस्टिंग से लेकर स्मार्ट सिटी तक दिखी विज्ञान की झलक

बक्सर टॉप न्यूज, बक्सर : जिले के डुमरांव स्थित फाउंडेशन स्कूल में मंगलवार को विज्ञान प्रदर्शनी का आयोजन किया गया, जिसमें विद्यार्थियों ने अपनी प्रतिभा का बेहतरीन प्रदर्शन किया. कार्यक्रम का शुभारंभ विद्यालय के निदेशक मनोज कुमार चौबे, मानवाधिकार और सामाजिक न्याय सेवा के प्रदेश अध्यक्ष डॉ. दिलशाद आलम, प्रधानाचार्य प्रतीक कुमार चतुर्वेदी और डॉ. खालीद रजा ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्ज्वलन और पुष्पार्चन कर किया.

प्रदर्शनी में छात्रों द्वारा बनाए गए मॉडल्स ने विज्ञान के प्रति उनकी गहरी समझ को दर्शाया. खासतौर पर रेन वाटर हार्वेस्टिंग, चंद्रयान मॉडल, वेस्ट मैनेजमेंट, स्मार्ट एग्रीकल्चर, गर्ल्स सेफ्टी डिवाइस, ग्रीन हाउस फार्मिंग, बायो गैस प्लांट, स्मार्ट सिटी, फायर अलार्म, ग्लोबल वार्मिंग, हाइड्रो इलेक्ट्रिसिटी जेनरेटर, ट्रांसफॉर्मेशन ऑफ नेचर, सोलर इक्लिप्स और वाटर वेस्ट ट्रीटमेंट जैसे मॉडल आकर्षण का केंद्र रहे.

वैज्ञानिक सोच को मिला बढ़ावा

छात्रों ने अपने मॉडलों के जरिए विज्ञान के सिद्धांतों को रोचक तरीके से प्रस्तुत किया. उनकी रचनात्मकता और तकनीकी समझ ने अतिथियों को प्रभावित किया. कार्यक्रम का संचालन शिक्षक धीरज कश्यप ने किया.

शिक्षकों व प्रबंधन की महत्वपूर्ण भूमिका

इस आयोजन को सफल बनाने में शिक्षकों का विशेष योगदान रहा. इसमें वीरेन्द्र दूबे, राजेन्द्र सिंह, निलीमा चौबे, विनोद उपाध्याय, पुरुषोत्तम तिवारी, रमेश चंद्र ओझा, प्रभाकर तिवारी, विनीत कुमार, पूजा गोस्वामी, अमित कुमार मिश्रा, नीतीश कुमार और अभिषेक कुमार तिवारी की भूमिका सराहनीय रही. साथ ही, मैनेजमेंट कमेटी के सदस्यों रागिनी चौबे, संदीप चौबे और दीक्षा चौबे ने भी आयोजन में अहम भूमिका निभाई.

इस प्रदर्शनी ने छात्रों को विज्ञान के प्रति और अधिक प्रेरित किया तथा उनकी सृजनात्मक क्षमता को निखारने का अवसर प्रदान किया.












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