बताया कि महंत चंद्रमा दास को वर्ष 1993 से पेसमेकर लगाया गया था, जिसे प्रत्येक दस वर्षों पर बदला जाता रहा. बीते 6 दिसंबर को उन्हें हार्ट अटैक आया था, जिसके बाद बक्सर के हेरिटेज अस्पताल में भर्ती कराया गया.

- बेहतर इलाज के लिए आईजीआईएमएस ले जाते समय रास्ते में हुआ निधन
- 1989 से बड़ी मठिया के महंत रहे चंद्रमा दास, शुक्रवार को आम सभा के बाद अंतिम संस्कार
बक्सर टॉप न्यूज, बक्सर : नगर के रामरेखा घाट के समीप स्थित प्राचीन बड़ी मठिया के महंत चंद्रमा दास का गुरुवार को निधन हो गया. 90 वर्षीय महंत पिछले कुछ दिनों से अस्वस्थ चल रहे थे और हार्ट अटैक के बाद उनका इलाज जारी था. बेहतर उपचार के लिए पटना स्थित आईजीआईएमएस हृदय रोग संस्थान ले जाने के दौरान उन्हें पुनः हार्ट अटैक हुआ, जिसके बाद चिकित्सकों ने उन्हें मृत घोषित कर दिया. उनके निधन की सूचना मिलते ही बक्सर नगर सहित आसपास के क्षेत्रों में शोक की लहर दौड़ गई.
इस संबंध में बड़ी मठिया के प्रबंधक केदार नाथ सिंह ने बताया कि महंत चंद्रमा दास को वर्ष 1993 से पेसमेकर लगाया गया था, जिसे प्रत्येक दस वर्षों पर बदला जाता रहा. बीते 6 दिसंबर को उन्हें हार्ट अटैक आया था, जिसके बाद बक्सर के हेरिटेज अस्पताल में भर्ती कराया गया. वहां दो दिनों तक उपचार के उपरांत उनकी स्थिति में सुधार हुआ और उन्हें छुट्टी दे दी गई. इसके बाद आठ दिनों बाद पुनः अस्पताल ले जाकर उनका चेकअप कराया गया, जहां चिकित्सकों ने उन्हें स्वस्थ बताया. इसके बाद वे बक्सर लौट आए थे.
प्रबंधक ने आगे बताया कि दो दिन पूर्व उन्हें बेहतर इलाज के लिए पटना स्थित आईजीआईएमएस हृदय रोग संस्थान ले जाया जा रहा था. इसी दौरान पुराना भोजपुर के समीप उनके सीने में दर्द हुआ. स्थिति बिगड़ने पर उन्हें तत्काल बक्सर के प्रसिद्ध हृदय रोग विशेषज्ञ चिकित्सक डॉ अरुण कुमार के यहां ले जाया गया, जहां उनका इलाज किया गया. गुरुवार को एक बार फिर उन्हें आईजीआईएमएस ले जाने की तैयारी की गई, लेकिन रास्ते में ही उनका निधन हो गया.
बताया गया कि चंद्रमा दास वर्ष 1989 से बड़ी मठिया के महंत थे. वे सरल स्वभाव, सर्वसुलभ और सर्वप्रिय संत के रूप में जाने जाते थे. उनके निधन के बाद उन्हें जानने और मानने वाले लोगों में गहरा दुख व्याप्त है. नगर परिषद चेयरमैन प्रतिनिधि नियामतुल्लाह फरीदी समेत कई गणमान्य लोग बड़ी मठिया पहुंचकर उनके अंतिम दर्शन कर चुके हैं.
प्रबंधक के अनुसार शुक्रवार को एक आम सभा आयोजित की जाएगी. इसके पश्चात नगर भ्रमण का कार्यक्रम संपन्न कराया जाएगा और फिर महंत चंद्रमा दास की अंतिम इच्छा के अनुसार बक्सर अथवा वाराणसी में उनका अंतिम संस्कार किया जाएगा.
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