वादे के मुताबिक मुकाबले के बराबरी के पहलवान साबित हुए परशुराम, संघर्षपूर्ण मुकाबले में सबसे कम अंतर से जीते मुन्ना तिवारी, देखिए सदर विधानसभा के सभी प्रत्याशियों के वोट ..

22वें राउंड की गिनती में कांग्रेस प्रत्याशी ने भाजपा को पीछे छोड़ दिया. इस राउंड में कांग्रेस को जहां 2445 वोट मिले. वहीं, भाजपा को 1535 वोट से संतोष करना पड़ा. 22वें राउंड से बढ़ा कांग्रेस का फासला धीरे-धीरे बढ़ता गया और अंतत: कांग्रेस ने भाजपा प्रत्याशी के जीत के सपने को ध्वस्त कर दिया. 


- राउंड दर राउंड बढ़ता गया जीत का फ़ासला, 21 वें राउंड के बाद पलटी बाज़ी
- चौसा के वोटरों ने पलटी बाजी वोटों के बिखराव ने भी संघर्ष को बढ़ाया

बक्सर टॉप न्यूज, बक्सर: सदर विधानसभा सीट पर बेहद दिलचस्प मुकाबले में आखिरकार भाजपा प्रत्याशी परशुराम चतुर्वेदी कांग्रेस के प्रत्याशी मुन्ना तिवारी से 3351 वोट से हार गए. जैसा कि परशुराम चतुर्वेदी ने चुनाव के पूर्व ही यह दावा किया था कि, वह मुन्ना तिवारी के सामने बराबरी के पहलवान साबित होंगे ऐसा ही उन्होंने कर भी दिखाया लेकिन, आखिरकार चौसा के वोटों ने बाजी को पलट दिया और मुन्ना तिवारी एक बार फिर जीत के सिकंदर बन गए. हालांकि मुन्ना तिवारी की यह जीत अन्य विधानसभा के प्रत्याशियों को मिली जीत से काफी कम अंतर से मिली जीत है.

सुबह जैसे ही पोस्टल बैलेट की गिनती शुरू हुई महागठबंधन ने बढ़त बना ली. इस दौरान एक बारगी भाजपा समर्थकों में उदासी देखी गई. हालांकि, जैसे ही इलेक्ट्रानिक वोटिग मशीन की गिनती शुरू हुई भाजपा ने बढ़त बनाना शुरू कर दिया. भाजपा का यह बढ़त 21वें राउंड तक जारी रहा और हर राउंड में भाजपा को बढ़त मिल रही थी. हालांकि, गौर करने लायक बात यह कि यह अंतर ज्यादा नहीं था. 22वें राउंड की गिनती में कांग्रेस प्रत्याशी ने भाजपा को पीछे छोड़ दिया. इस राउंड में कांग्रेस को जहां 2445 वोट मिले. वहीं, भाजपा को 1535 वोट से संतोष करना पड़ा. 22वें राउंड से बढ़ा कांग्रेस का फासला धीरे-धीरे बढ़ता गया और अंतत: कांग्रेस ने भाजपा प्रत्याशी के जीत के सपने को ध्वस्त कर दिया. 

बता दें कि यह इलाका चौसा का था, जहां के ईवीएम की गिनती हो रही थी. इस इलाके में रालोसपा के उम्मीदवार ने भी अच्छा-खासा मत हासिल किया. नतीजा यह हुआ कि चौसा के जिस क्षेत्र में पिछले विधानसभा चुनाव में भाजपा उम्मीदवार प्रदीप दूबे को हार का मुंह देखना पड़ा था, उसी क्षेत्र में इस बार भाजपा प्रत्याशी परशुराम चतुर्वेदी को भी हार का सामना करना पड़ा.



















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