वीडियो : पुलिस की तत्परता से बच गई हजारों लोगों की जान ..

सूचना मिली थी कि पंचघरवा पुल के समीप काव नदी के किनारे एक नकली शराब फैक्ट्री स्थापित की गई है, जहां छिप-छिपाकर शराब बनाने का कार्य होता है. इस गुप्त सूचना के आधार पर उनके द्वारा एएसपी राज के नेतृत्व में एक टीम का गठन किया गया.




- नकली शराब फैक्ट्री का उद्भेदन, आठ गिरफ्तार
- नावानगर थाना क्षेत्र के काव नदी के समीप चल रहा था निर्माण कार्य

बक्सर टॉप न्यूज, बक्सर : बक्सर पुलिस की तत्परता से सैकड़ों लोगों की जान बच गई है. दरअसल, पुलिस ने नकली शराब बनाने वाले एक गैंग का भंडाफोड़ करते हुए कुल आठ लोगों को गिरफ्तार किया है. साथ ही भारी मात्रा में स्प्रिट भी बरामद की है. यह कार्रवाई जिले के नावानगर थाने की पुलिस के द्वारा थाना क्षेत्र के पंचघरवा पुल के समीप काव नदी के किनारे अंजाम दी गई है. मामले में एसपी नीरज कुमार सिंह ने प्रेस वार्ता कर यह बताया कि गिरफ्तार अभियुक्तों को न्यायालय के समक्ष प्रस्तुत करते हुए जेल भेज दिया गया है.


घटना के संदर्भ में जानकारी देते एसपी ने बताया कि नावानगर थाने की पुलिस को सूचना मिली थी कि पंचघरवा पुल के समीप काव नदी के किनारे एक नकली शराब फैक्ट्री स्थापित की गई है, जहां छिप-छिपाकर शराब बनाने का कार्य होता है. इस गुप्त सूचना के आधार पर उनके द्वारा एएसपी राज के नेतृत्व में एक टीम का गठन किया गया, जिसने चिन्हित स्थान पर छापेमारी की और वहां एक बड़ी शराब फैक्ट्री का भंडाफोड़ किया. मौके से कारोबारियों को भी गिरफ्तार किया गया. साथ ही 266 लीटर स्प्रिट तथा केमिकल बरामद किया गया. इतना ही नहीं पुलिस ने मौके से 420 बोतल अंग्रेजी शराब भी बरामद की है.

एसपी ने बताया कि मुरार थाना क्षेत्र के अमसारी गांव में नकली शराब फैक्ट्री का उद्भेदन करने के साथ-साथ आरोपियों को गिरफ्तार कर जेल भेजने के पश्चात अब नावानगर थाना क्षेत्र में नकली शराब बनाने का कार्य शुरू किया गया था. इस कार्य में शराब तस्करी के पूर्व आरोपी शामिल थे, जिन्होंने नकली शराब बनाने का कार्य शुरू कर दिया था. 

उन्होंने बताया कि मौके से बक्सर जिले के सोनू साह, पंकज यादव, विकास कुमार, जयप्रकाश राय, लल्लू यादव, चंदन तिवारी तथा रोहतास जिले के कन्हैया कुमार और रंजन कुमार गिरफ्तार किए गए. एसपी के मुताबिक शराब कांड में यह सभी पूर्व में जेल जा चुके हैं. जमानत से छूटने के बाद सभी पड़ोसी राज्य झारखंड के निर्माण का कार्य कर रहे थे. गिरफ्तार कारोबारियों में से सोनू साह इसी वर्ष 25 फरवरी को स्प्रिट के साथ गिरफ्तार किया गया था लेकिन, 13 अगस्त को वह पुनः जमानत पर छूट गया और अपने गिरोह को सक्रिय करते हुए नकली शराब बनाने का कार्य शुरू कर दिया.

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