बक्सर के भोजपुरी गायक के घर पहुंची तमिलनाडु पुलिस, नकली ऑडियो वायरल करने का है मामला ..

कथित तौर पर एक आइपीएस अधिकारी से बात की है और उससे बातचीत एक ऑडियो वायरल किया है. जिसमें उनका यह कहना है कि जिस व्यक्ति से वह बात कर रहे हैं उसे हिंदी नहीं आती और वह व्यक्ति कोई और नहीं बल्कि तमिलनाडु के तिरपुर जिले पुलिस के एक एसपी हैं. 







- भोजपुरी गायक संतोष रेणु यादव पर लगा है आरोप प्राथमिकी हुई है दर्ज
- संतोष रेनू यादव के नजदीकी तूफानी लाल यादव से हुई पूछताछ


बक्सर टॉप न्यूज़, बक्सर : जिले में तमिलनाडु की पुलिस के द्वारा एक भोजपुरी गायक से घंटों पूछताछ की गई. अचानक हुई इस कार्रवाई में बक्सर पुलिस ने भी तमिलनाडु की पुलिस को सहयोग किया इसके बाद पुलिस ने अपना कार्य पूरा किया और फिर वापस लौट गई तमिलनाडु पुलिस के बक्सर पहुंचने की खबर से ही इलाके में दहशत का माहौल कायम रहा. बताया गया कि पुलिस एक भोजपुरी गायक से पूछताछ करने के लिए पहुंची पूछताछ करने के पश्चात पुलिस खाली हाथ लौट गए. 


घटना के संदर्भ में मिली जानकारी के मुताबिक भोजपुरी गायक संतोष रेनू यादव के विरुद्ध तमिलनाडु में प्राथमिकी दर्ज कराई गई है. यह प्राथमिकी उनके द्वारा तमिलनाडु पुलिस के एक आइपीएस अधिकारी का नकली ऑडियो बनाकर उसे वायरल करने के आरोप में कराई गई है. मामले में पुलिस ने भोजपुरी गायक संतोष रेणु यादव के पटना जिले के रामकृष्ण नगर थाना क्षेत्र इलाके में स्थित घर पर छापेमारी की जहां वह नहीं मिले जिसके बाद पुलिस ने संतोष रेणु यादव का सीडीआर खंगाला और यह पाया कि उन्होंने काफी देर तक सोनवर्षा ओपी थाना क्षेत्र के गिरिधर बरांव निवासी तूफानी लाल यादव से बात की है. इसी आधार पर पुलिस तूफानी लाल यादव के यहां पहुंची और उनसे यह जानने का प्रयास कर रही थी संतोष रेणु यादव कहां हैं? घंटों तक चली इस पूछताछ में पुलिस को यह ज्ञात नहीं हो सका और फिर वह वापस पटना लौट गई. सोनवर्षा ओपी प्रभारी ज्ञान प्रकाश ने बताया कि उन्हें यह ज्ञात हुआ था कि तमिलनाडु पुलिस उनके थाना क्षेत्र में पहुंची हुई है जिसके बाद उन्होंने पुलिस से संपर्क किया और पूछताछ खत्म होने तक पुलिस टीम के साथ मौजूद रहे. बाद में जब पुलिस में कोई जानकारी नहीं मिली तो पुलिस ने शाम तकरीबन 7:30 बजे वापस पटना का रुख किया.

दरअसल संतोष रेणु यादव ने कथित तौर पर एक आइपीएस अधिकारी से बात की है और उससे बातचीत एक ऑडियो वायरल किया है. जिसमें उनका यह कहना है कि जिस व्यक्ति से वह बात कर रहे हैं उसे हिंदी नहीं आती और वह व्यक्ति कोई और नहीं बल्कि तमिलनाडु के तिरपुर जिले पुलिस के एक एसपी हैं. ऐसे में बिहारी मजदूरों पर यदि तमिलनाडु में कोई अत्याचार होता है तो वह पुलिस की मदद कैसे ले सकेंगे?

इस मामले में पुलिस का कहना है कि इस ऑडियो को एसपी का बताकर वायरल किया जा रहा है. वह नकली है. क्योंकि जिस अधिकारी पर आरोप लगाया गया है वह बहुत अच्छी हिंदी बोलते हैं. ऐसे में पुलिस का मानना है कि जिस तरह से उन्होंने फर्जी ऑडियो वायरल किया है, वह निश्चित रूप से जन भावनाओं को उकसाने वाली है, जिसके गंभीर परिणाम हो सकते हैं. ऐसे में उनके विरुद्ध जानबूझकर इस तरह का अपराध किए जाने आरोप लगाकर प्राथमिकी दर्ज की गई है. 















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