पूर्व वार्ड पार्षद ने नप अभियंता पर लगाए भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप, डीएम को लिखा पत्र ..

जिला पदाधिकारी को पत्र लिखकर कार्रवाई की मांग की है. उनका कहना है कि इनके द्वारा कराए गए कार्यों की जांच हो ताकि इनकी काली कमाई अर्जित करने के खेल का पर्दाफाश हो सके. उन्होंने इसी पत्र की प्रतिलिपि मुख्यमंत्री तथा नगर आवास एवं विकास विभाग को भेजी है.

 





- नगर परिषद के पूर्व वार्ड पार्षद हैं धीरज कुमार
- कनीय अभियंता अंजनी कुमार व संवेदक अशोक कुमार पर लगा आरोप

बक्सर टॉप न्यूज, बक्सर : नगर परिषद में भ्रष्टाचार की जड़े बहुत गहरी हैं. समय-समय पर इसके विरुद्ध आवाज तो उठाई जाती रहती है लेकिन नतीजा कुछ विशेष नहीं निकल पाता. इसी तरह के एक मामले में डुमरांव तथा बक्सर नगर परिषद में कार्य कर रहे कनीय अभियंता अंजनी कुमार तथा संवेदक अशोक कुमार के विरुद्ध डुमरांव नगर परिषद के पूर्व वार्ड पार्षद सह राष्ट्रीय जनता दल के जिला महासचिव धीरज कुमार ने जिला पदाधिकारी को पत्र लिखकर कार्रवाई की मांग की है. उनका कहना है कि इनके द्वारा कराए गए कार्यों की जांच हो ताकि इनकी काली कमाई अर्जित करने के खेल का पर्दाफाश हो सके. उन्होंने इसी पत्र की प्रतिलिपि मुख्यमंत्री तथा नगर आवास एवं विकास विभाग को भेजी है.

उनका कहना है कि कनीय अभियंता के द्वारा जमकर भ्रष्टाचार और लूटपाट की जा रही है. उन्होंने कहा कि एक तरफ जहां रामनवमी, दुर्गा पूजा, छठ पूजा में एक ही कार्य को बार-बार करने के नाम पर पैसा निकाला जाता है वहीं, एक ही चापाकल की मरम्मत बार-बार कराना, एक ही स्ट्रीट लाइट की मरम्मत के नाम पर बार-बार पैसा निकालना, पनशाला, प्याऊ व्यवस्था व अन्य कामों के नाम पर जमकर हेराफेरी की जा रही है. किसी भी कार्य की निविदा न प्रकाशित कर विभागीय कार्य के नाम पर एक ही संवेदक के द्वारा कार्य कराया जा रहा है. ऐसे में संवेदक तथा कनीय अभियंता दोनों रातों-रात मालामाल हो रहे हैं और जनता के टैक्स की गाढ़ी कमाई खुलेआम लूटी जा रही है. 

संविदा पर बहाल कनीय अभियंता नहीं कर सकते हैं विभागीय कार्य :

पूर्व वार्ड पार्षद धीरज गुप्ता का कहना है कि संविदा पर बहाल कनीय अभियंता कोई भी विभागीय कार्य नहीं कर सकते लेकिन नियमों की अवहेलना करते हुए अंजनी कुमार के द्वारा लगातार विभागीय कार्य किया जा रहा है. पूर्व वार्ड पार्षद का कहना है कि अंजनी कुमार हर विकास योजना का एस्टीमेट बढ़ाकर बनाते हैं और फिर विभागीय कार्य के नाम पर उसे मनमानी ढंग से अशोक कुमार के द्वारा कार्यन्वित कराते हैं. उनका यह भी आरोप है कि सरकारी कनीय अभियंता जयंत राज केवल इसलिए कार्य नहीं करते क्योंकि उन पर भ्रष्टाचार में शामिल होने का दबाव बनाया जाता है.

सभी आरोप बेबुनियाद - कनीय अभियंता :

कनीय अभियंता अंजनी कुमार का कहना है कि मामला व्यक्तिगत विवाद का है. पूर्व वार्ड पार्षद का यह कहना है कि संवेदक अशोक कुमार ने पांच सालों के अंदर इतनी संपत्ति कैसे अर्जित कर ली? इसी बात को लेकर वह बार-बार सवाल उठाते रहते हैं. हालांकि जो भी कार्य हो रहे हैं वह विभागीय नियमानुसार हो रहे हैं. फिर भी विभाग चाहे तो मैं आज भी कार्य छोड़ने को तैयार हूं. लेकिन पूर्व वार्ड पार्षद के द्वारा लगाए गए आरोप बेबुनियाद हैं.








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